चिरंजीव सेमवाल
जल निगम बोले वन विभाग से स्वीकृती मिलने का कर रहे इंतजार।।
उत्तरकाशी। सरकार ने भले ही हर घर नल , हर नल जल के लिए जल जीवन मिशन के तहत योजना चलाई हो लेकिन पहाड़ों में अभी भी कुछ गांव के तोक ऐसे हैं जहां लोग दो किलोमीटर दूर से प्राकृतिक स्रोत से पानी भर कर घोड़े -खच्चरों पर लादेन को मजबूर हैं।
- ऐसा ही एक मामला प्रकाश में आया है नौगांव विकास खंड के पाली गांव का बढ़ाता तोक में 20-25 परिवार रहते हैं।
ये लोग दो किलोमीटर दूर प्राकृतिक स्रोत से घोड़े खच्चर और पीठ में पानी ढोने को मजबूर हैं। खबर है कि चार-पांच वर्ष पूर्व उक्त तोक में सरकार ने कार्यदाई संस्था जल निगम उत्तरकाशी से लाईन बनी थी लेकिन पानी का बूंद तक नहीं आया और विभाग और ठेकेदार ने लिखों रूपये ढकार दिये।
क्षेत्र के सामाजिक कार्यकर्ता महावीर सिंह पंवार ने उक्त तोक में जल जीवन मिशन योजना से वंचित दर्जनों परिवारों को पानी की लाईन बनाने की मांग उठाई है।
गौरतलब है है कि जल जीवन मिशन के लिए केंद्र की मोदी ने सरकार 350 लाख करोड रुपए के बजट का प्रावधान किया गया है। जिसके माध्यम से राज्यों के ग्रामीण क्षेतत्रों में पानी का कनेक्शन प्रदान किया जाएगा। वर्ष 2019 से लेकर 2024 तक अलग-अलग रूप में केंद्र और राज्य सरकार की भागीदारी को निर्धारित किया गया है। इधर जल निगम का कहना है कि पाली गांव के अंतर्गत बढ़ाता तोक में विभाग ने फेस टू में योजना स्वीकृत करवा रखी लेकिन वन विभाग से स्वीकृत ना मिलने से कार्य प्रारंभ नहीं हो सका।