अब देश में सिर्फ ” भगवा” चलेगा “गजवा” नहीं : शास्त्री
चिरंजीव सेमवाल
उत्तरकाशी: बुधवार को उत्तरकशी के यमुना घाटी पहुंचे बागेश्वर धाम के प्रसिद्ध कथावाचक धीरेन्द्र शास्त्री ने कहां कि देश में सिर्फ “सनातनी ” ही चलेगा “तनातनी” नहीं।
उन्होंने मीडिया को संबोधित करते हुए कहा कि देवभूमि के गंगा -यमुना के संगम एवं जमदग्नि ऋषि
की तपो भूमि पर पहुंचने से अति प्रसन्नता हुई है। उन्होंने कहा कि यह मां यमुना का निर्मल कंचन जल है जबकि इंद्रप्रस्थ और बृज भूमि में यमुना कितनी प्रदुषित है। उन्होंने कहा कि हमने आज यमुना तट पर संकल्प लें लिया है गांव -गांव मां यमुना और गंगा जी को प्रदुषण मुक्त के लिए प्रेरित करेंगे और हिंदुओं को जागरूक करेंगे।
धीरेन्द्र शास्त्री ने कहा कि 7 नवंबर से 16 नवंबर तक दिल्ली से वृंदावन तक सनातन हिंदू पथ यात्रा किया जा रहा। उन्होंने कहा कि अब भारत में सिर्फ “सनातनी ” चलेगा “तनातनी” नहीं। उन्होंने कहा कि अब देश में सिर्फ “भगवा” चलेगा “गजवा” नहीं। और जो हिंदुओं को छेडागा उन्हें छोड़ेंगे नहीं।
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धीरेन्द्र शास्त्री ने गंगनानी से किया अपनी धार्मिक यात्रा की शुरुआत
यमुना संगम तट में पूजा के बाद पहुंचे यमुना जी के दर्शन करने खरशाली
उत्तरकाशी : कथावाचक धीरेन्द्र शास्त्री बुधवार को उत्तराखंड से यमुना घाटी के गंगनानी से अपनी धार्मिक यात्रा की शुरुआत की है।
बागेश्वर धाम के कथावाचक पंडित धीरेन्द्र कृष्ण शास्त्री ने अब अपनी धार्मिक यात्राएं उत्तराखंड से शुरूआत कर दी हैं।
बुधवार हेलीकॉप्टर से बागेश्वर धाम के पीठाधीश धीरेन्द्र शास्त्री , कुमार विश्वास पहुंचकर
कार्तिक पूर्णिमा के पावन पर्व पर गंगनानी के यमुना नदी के संगम त्रिवेणी घाट पर पहुंचे । इस दौरान उन्होंने जमदग्नि ऋषि के तपो स्थली यमुना नदी में स्नान किया है। इस दौरान उन्होंने गंगनानी में पूजा अर्चना कर मां यमुना के शीतकालीन प्रवास खरसाली मां यमुना के मंदिर के दर्शन कर व पूजा -अर्चन करेंगे निकले हैं।
बता दें कि पहले इस यात्रा की शुरुआत दिल्ली के छतरपुर से तय थी, लेकिन अब इसमें बदलाव किया गया है। अब धीरेन्द्र शास्त्री अपनी यात्रा की शुरुआत उत्तरकाशी जनपद के गंगनानी से किया है। यह वही पवित्र स्थल है जहां मां गंगा और यमुना का संगम माना जाता है।
उन्होंने बताया कि इस यात्रा का उद्देश्य सनातन संस्कृति और अध्यात्म के संदेश को जन-जन तक पहुंचाना है। इस दौरान यमुना घाटी के स्कूल के छात्र छात्रों समेत भारी संख्या में पहुंच कर स्वागत किया है।
वहीं मां यमुना जी के शीतकालीन प्रवास खरशाली गांव में तीर्थ पुरोहितों एवं ग्रामीणों ने बागेश्वर धाम के कथावाचक और डॉ कुमार विश्वास का जोरदार स्वागत किया है।



